कोरोना से सर्वाधिक मौतों वाला पहला शहर बना मुंबई (मुंबई से शैलेन्द्र पाण्डेय की रिपोर्ट)

        धारावी पुलिस की पीएसआई अंजली वीणा बताती है कि वह रोजाना यहां से करीब 6 से 7 हजारों प्रवासियों को कुर्ला और बांद्रा के लिए छोड़ रही हैं। इन स्टेशनों से ये प्रवासी श्रमिक ट्रेनों से अपने घर जा रहे हैं। यहां इन्हें रहने-खाने में काफी तकलीफ हो रही है। इन्हें व्यवस्थित तरीके से सायन-धारावी 90 फीट रोड या लिंक रोड पर मेडिकल जांच एवं आवश्यक कार्यवाही कर स्टेशनों तक पहुंचाया जा रहा हे। भीड़ को नियंत्रित करने के लिए कभी-कभार सख्त कदम उठाने पडते हैं, लेकिन स्थिति नियंत्रण में है। अब तक 25 श्रमिक ट्रेनों से प्रवासियों को भेजा जा चुका है।       

          मुंबई। (मुंबई से शैलेन्द्र पाण्डेय की रिपोर्ट)  कोरोना की चपेट में सर्वाधिक प्रभावित मुंबई के धारावी और माहिम से लगातार प्रवासियों का पलायन जारी है। यहां अधिकांश लोग यूपी, बिहार, बंगाल, तमिलनाडु और उड़ीसा के अलावा नेपाल के भी हैं। इस इलाके से औसतन 40 से 45 मामले रोज  कोरोना मरीजों के आने से लोग डरे हुए हैं। इसलिए लोग अब यहां से अपने घर-गांव जाने की कोशिशों में लगे  हैं।
चमड़ा नगर जवाहर नगर से अपने-अपने घर जाने वाले प्रवासियों की कतार में सायन-धारावी लिंक रोड पर खड़े लोगों  ने बताया कि यहां सरकार द्वारा न तो राशन उपलब्ध कराया जा रहा है न ही उनके पास पैसा बचा हुआ इनकी दुकाने बंद है। इसलिये वह घर जाने को मजबूर हैं।
कोरोना वायरस से सर्वाधिक संक्रमण इन्हीं इलाकों में पसरा हुआ है। इसलिए ये लोग यहां से भागना चाहते हैं। स्थानीय धारावी पुलिस इन्हें अपने घर पहुंचाने का काम रेलवे प्रशासन की मदद से कर रही है। धारावी पुलिस की पीएसआई अंजली वीणा बताती है कि वह रोजाना यहां से करीब 6 से 7 हजारों प्रवासियों को कुर्ला और बांद्रा के लिए छोड़ रही हैं। इन स्टेशनों से ये प्रवासी श्रमिक ट्रेनों से अपने घर जा रहे हैं। यहां इन्हें रहने-खाने में काफी तकलीफ हो रही है। इन्हें व्यवस्थित तरीके से सायन-धारावी 90 फीट रोड या लिंक रोड पर मेडिकल जांच एवं आवश्यक कार्यवाही कर स्टेशनों तक पहुंचाया जा रहा हे। भीड़ को नियंत्रित करने के लिए कभी-कभार सख्त कदम उठाने पडते हैं, लेकिन स्थिति नियंत्रण में है। अब तक 25 श्रमिक ट्रेनों से प्रवासियों को भेजा जा चुका है।
एक स्थानीय अधिकारी के अनुसार धारावी में 1478 से अधिक लोग संक्रमित हो चुके हैं, जिनमें एक 9 साल की बच्ची भी शामिल है। 60 से अधिक लोगों की मौत हो चुकी है। दिन-ब-दिन धारावी और माहिम की हालात गंभीर होती जा रही है। गौरतलब है कि एशिया की सबसे बड़ी झोपड़पट्टी धारावी में 6.5 लाख से अधिक लोग रहते हैं। इसलिए यहां कोरोना के सर्वाधिक मामले सामने आ रहे हैं। हालांकि मुंबई में अब तक कोरोना से मरने वालों की संख्या 1695 हो गयी जिसके चलते मुंबई अब एक हजार से ऊपर कोरोना से मरने वालों का पहला शहर बन गया है। मुंबई में अब तक कोरोना सवंमित मरिजों की बात करें तो उसकी संख्या 52,667 हो गयी है। सोमवार को मुंबई में 38 मौतें हुईं। मुंबई के अलावा पुणे में 11, नवी मुंबई में 3, ठाणे में 2, औरंगाबाद में 2, सोलापुर में 1, कल्याण-डोम्बिवली में 1, रत्नागिरी में 1 की मृत्यु हुई है। बिहार के रहने वाले एक शख्स की मुंबई में मौत हुई है।
बताते चले कि कोरोना संकट के बीच बड़ी तादाद में नर्सें इस्तीफा देकर जा रही हैं। इससे इस महामारी से मुकाबला करने की कोशिशों में मुश्किल आ रही है। नौकरी छोड़कर जाने वाली नर्सों में ज्यादातर केरल की हैं। अस्पताल संचालकों ने कहा कि जिला एवं निकाय प्रशासन के साथ शनिवार को हुई बैठक में इस मुद्दे को उठाया गया था। निकाय प्रशासन का कहना है कि नर्सों को यह बताया जाना चाहिए कि महाराष्ट्र आवश्यक सेवा कानून लागू है, जिसके तहत अस्पताल में काम करने वाली नर्सों का गैर जरूरी इस्तीफा नामंजूर किया जा सकता है। कोरोना संकट में इस बीच महाराष्ट्र सरकार ने अब तक 527 ट्रेनों से सात लाख 38 हजार मजदूरों को उनके गृह राज्य पहुंचा दिया है। राज्य के गृह मंत्री अनिल देशमुख ने बताया कि मजदूरों के रेल टिकट से लेकर उनके खाने वगैरह की सभी व्यवस्थाएं राज्य सरकार कर रही है।

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