राष्ट्रीय फाइलेरिया एमडीए अभियान 17 फरवरी 2020 से 29 फरवरी तक
आजमगढ़ । जिलाधिकारी नागेन्द्र प्रसाद सिंह की अध्यक्षता में कार्यालय कक्ष में राष्ट्रीय फाइलेरिया एमडीए अभियान को सफल बनाने के लिए जिला टास्क फोर्स की बैठक सम्पन्न हुई।
इस अवसर पर अपर मुख्य चिकित्साधिकारी डॉ0 एके सिंह ने बताया कि राष्ट्रीय फाइलेरिया एमडीए अभियान 17 फरवरी 2020 से 29 फरवरी 2020 तक चलाया जायेगा। शासन के मंशा के अनुरूप फाइलेरिया मुक्त कराने हेतु प्रत्येक आंनवाड़ी, आशा कार्यकत्री को शामिल किया जायेगा। उन्होने बताया कि राष्ट्रीय फाइलेरिया एमडीए अभियान को सफल बनाने के लिए दवा खिलाने के लिए 7542 कर्मचारी, 3771 टीम, 630 पर्यवेक्षक, 43 चिकित्साधिकारी लगाये गये हैं।
जिलाधिकारी ने कहा कि फाइलेरिया मच्छर जनित रोग है, जो एक विशेष प्रकार के मच्छर क्यूलेक्स फैंटिगम के काटने से होता है, इसके काटने के 15 दिन बाद बुखार आना, कुछ समय पश्चात शरीर के किसी भी अंग में सूजन का होना जो स्थाई रूप से परिवर्तित हो जाता है, जैसे- हाथी पॉव, पैरो में सूजन, अण्डाकोशों मे सूजन, स्तन तथा हाथों में स्थायी सूजन का होना फाइलेरिया रोग के लक्षण हैं। उन्होने बताया कि फाइलेरिया की दवा की खूराक में 02 वर्ष से कम उम्र के बच्चों को दवा नही खिलानी है, 02 वर्ष से ऊपर 05 वर्ष तक के बच्चों को डीईसी 100 एमजी की 01 गोली, अल्बेन्डाजोल 400 एमजी की 01 गोली, 05 वर्ष से ऊपर 15 वर्ष तक डीईसी 100 एमजी की 02 गोली, अल्बेन्डाजोल 400 एमजी की 01 गोली तथा 15 वर्ष से ऊपर के बच्चों को डीईसी 100 एमजी की 03 गोली व अल्बेन्डाजोल 400 एमजी की 01 गोली खिलाई जाती है।
जिलाधिकारी ने बताया कि फाइलेरिया में सावधानी बरतने की जरूरत है, जिसमें फाइलेरिया के दवा की खूराक खाली पेट नही खिलायी जानी है, अत्यन्त बिमार, कमजोर, हृदय रोगी तथा गर्भवती महिलाओं को दवा की खूराक नही पिलानी चाहिए। दवा की खूराक लेने के उपरान्त किसी को भी किसी तरह की परेशानी या उलझन उत्पन्न हो, जैसे-चक्कर आना, जी मिचलाना या बेचैनी आदि हो तो निकटतम प्राथमिक स्वास्थ्य केन्द्र के चिकित्सक से सम्पर्क कर सलाह लें अथवा रैपिड रिस्पाण्ड टीम का सहयोग लें।
इस अवसर पर अपर मुख्य चिकित्साधिकारी डॉ0 एके सिंह, डिप्टी सीएमओ डॉ0 परवेज अख्तर, जिला सूचना अधिकारी सहित अन्य संबंधित अधिकारी उपस्थित रहे।
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